मणिबंध शक्तिपीठ
Manibandh Shaktipeeth
(Shaktipeeth in Rajasthan)
Summary
मणिबन्ध शक्तिपीठ: पुष्कर का पवित्र तीर्थ
मणिबन्ध शक्तिपीठ, जिसे मणिवेदिका शक्तिपीठ या राजराजेश्वरी पुरूहुत मणिवेदिक शक्तिपीठ के नाम से भी जाना जाता है, हिन्दू धर्म के 51 प्रमुख शक्तिपीठों में से एक है। यह राजस्थान के पुष्कर में, अजमेर के निकट स्थित है। हिन्दू पौराणिक कथाओं के अनुसार, माँ सती के शरीर के अलग-अलग अंग विभिन्न स्थानों पर गिरे थे और उन स्थानों पर शक्तिपीठ स्थापित हुए। यह माना जाता है कि यहीं पर माँ सती के मणिबन्ध (कलाईयाँ) गिरे थे, इसलिए इस स्थान को मणिबन्ध शक्तिपीठ कहा जाता है।
यह मंदिर स्थानीय रूप से चामुण्डा माता मंदिर के नाम से भी प्रसिद्ध है और धार्मिक दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण है। यहाँ माँ चामुण्डा की आराधना की जाती है, जिन्हें दुर्गा माता का एक रूप माना जाता है। मंदिर की स्थापत्य कला और शिल्पकारी देखने लायक है, जो इसकी प्राचीनता और धार्मिक महत्व को दर्शाती है।
पुष्कर अपने आप में एक पवित्र तीर्थ स्थल है, और मणिबन्ध शक्तिपीठ इसकी पवित्रता को और भी बढ़ाता है। यह स्थान तीर्थयात्रियों और भक्तों के लिए आध्यात्मिक अनुभव प्रदान करता है। यहाँ आने वाले श्रद्धालु माँ चामुण्डा की कृपा प्राप्त करने और अपने जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने की कामना करते हैं। मंदिर में विभिन्न प्रकार के अनुष्ठान और पूजाएँ आयोजित की जाती हैं, जो वर्ष भर भक्तों को आकर्षित करती हैं, विशेषकर नवरात्रि और अन्य त्योहारों के दौरान। मंदिर का वातावरण शांत और पवित्र है, जो आध्यात्मिक चिन्तन और ध्यान के लिए आदर्श है। पुष्कर झील के पास होने के कारण, यहाँ आने वाले पर्यटक और तीर्थयात्री झील के दर्शनीय दृश्यों का भी आनंद ले सकते हैं।